नई दिल्ली।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को कहा कि वे ब्राजील में होने वाले आगामी जी-20 समिट में सार्थक चर्चाओं की प्रतीक्षा कर रहे हैं।यह सम्मेलन पिछले साल भारत की अध्यक्षता में तय किए गए ग्रुप के एजेंडे पर आधारित है। पीएम ने नाइजीरिया,ब्राजील और गुयाना की अपनी पांच दिवसीय यात्रा से पहले एक बयान में यह बात कही।
बता दें कि पीएम मोदी सबसे पहले नाइजीरिया जाएंगे और फिर वहां से ब्राजील जाएंगे।पीएम के अलावा चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग तथा अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन भी 18 और 19 नवंबर को रियो डी जेनेरियो में होने वाले शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे।भारत ब्राजील तथा दक्षिण अफ्रीका के साथ जी-20 त्रिगुट का हिस्सा है। 55 देशों के अफ्रीकी संघ को जी 20 के स्थायी सदस्य के रूप में शामिल करना और यूक्रेन संघर्ष पर गहरे मतभेदों को दूर करते हुए नेताओं की घोषणा तैयार करने को पिछले साल जी 20 की भारत की अध्यक्षता के प्रमुख मील के पत्थर के रूप में देखा गया।
पीएम ने कहा कि ब्राजील में मैं 19वें जी-20 शिखर सम्मेलन में त्रिगुट (ट्रोइका) सदस्य के रूप में भाग लूंगा।पिछले साल भारत की सफल अध्यक्षता ने जी-20 को लोगों का जी-20 बना दिया तथा ग्लोबल साउथ की प्राथमिकताओं को इसके एजेंडे में शामिल कर दिया।
पीएम मोदी ने कहा कि इस साल ब्राजील ने भारत की विरासत को आगे बढ़ाया है।मैं एक पृथ्वी,एक परिवार,एक भविष्य के हमारे दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए सार्थक चर्चाओं की आशा करता हूं। पीएम ने कहा कि मैं इस मौके का उपयोग कई अन्य नेताओं के साथ द्विपक्षीय सहयोग को आगे बढ़ाने पर विचारों का आदान-प्रदान करने के लिए भी करूंगा।
नाइजीरिया की यात्रा को लेकर पीएम मोदी ने कहा कि यह लोकतंत्र और बहुलवाद में साझा विश्वास पर आधारित हमारी रणनीतिक साझेदारी को आगे बढ़ाने का अवसर होगा।
पीएम मोदी राष्ट्रपति बोला अहमद टीनूबू के आमंत्रण पर 16-17 नवंबर को दो दिन की यात्रा पर नाइजीरिया जाएंगे। पीएम मोदी ने कहा कि यह नाइजीरिया की मेरी पहली यात्रा होगी।नाइजीरिया पश्चिमी अफ्रीकी क्षेत्र में हमारा करीबी साझेदार है। पीएम ने कहा कि मैं भारतीय समुदाय और नाइजीरिया के मित्रों से मिलने के लिए भी उत्सुक हूं, जिन्होंने मुझे हिंदी में गर्मजोशी भरे स्वागत संदेश भेजे हैं।
अपनी यात्रा के तीसरे और अंतिम चरण में पीएम मोदी राष्ट्रपति मोहम्मद इरफान अली के निमंत्रण पर 19 से 21 नवंबर तक गुयाना का दौरा करेंगे।यह 50 वर्षों से अधिक समय में किसी भारतीय प्रधानमंत्री की गुयाना की पहली यात्रा होगी।
पीएम मोदी ने कहा कि हम अपने उन अनूठे संबंधों को रणनीतिक दिशा देने के लिए विचारों का आदान-प्रदान करेंगे, जो साझा विरासत, संस्कृति और मूल्यों पर आधारित है। पीएम ने कहा कि मैं सबसे पुराने भारतीय प्रवासी समुदायों में से एक के प्रति भी अपना सम्मान अर्पित करूंगा, जो 185 साल से भी पहले वहां गए थे।मैं उनकी संसद को संबोधित करते हुए उनके लोकतंत्र से जुड़ूंगा।