वाराणसी।बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।वाराणसी के काशी विश्वनाथ मंदिर में रील बनाने पर नया विवाद खड़ा हो गया है।रील बनाने के बाद काशी विश्वनाथ मंदिर प्रशासन ने जांच के आदेश दिए हैं।
बता दें कि तेज प्रताप यादव पार्टी और परिवार से बाहर निकाले जाने के बाद 12 जून को काशी विश्वनाथ मंदिर पहुंचे थे।मंदिर में दर्शन करने के बाद तेज प्रताप ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक रील पोस्ट कर दी।इसके बाद विवाद खड़ा हो गया।तेज प्रताप ने रील पोस्ट करते हुए लिखा, बाबा विश्वनाथ का आशीर्वाद हो,मां गंगा का निर्मल पवित्र घाट हो, पूरी दुनिया को मैं भूल जाऊं और बनारस में मेरा भोला मुझे याद हो हर हर महादेव बोलना ही होगा।
तेज प्रताप यादव का ये रील पोस्ट होने के बाद काशी विश्वनाथ मंदिर प्रशासन ने जांच के आदेश दिए हैं।मंदिर प्रशासन का कहना है कि मंदिर के प्रतिबंधित क्षेत्र में उन्होंने रील बनाया है,इसकी जांच होनी चाहिए। 52 सेकंड के वीडियो में दिख रहा है कि तेज प्रताप यादव माथे पर तिलक लगाए हैं और सुरक्षा में तैनात जवानों के साथ फोटो भी खिंचा रहे हैं।
काशी विश्वनाथ मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी विश्वभूषण मिश्रा का कहना है कि काशी विश्वनाथ धाम के रेड जोन में बनाए गए वीडियो का विषय मंदिर प्रशासन ने संज्ञान लिया है।श्रद्धालुओं की सुरक्षा,पवित्रता और व्यवस्था के लिए वीडियो बनाना प्रतिबंधित है।मंदिर प्रशासन ने मुख्य कार्यपालक अधिकारी के निर्देश पर केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल एवं स्थानीय पुलिस प्रशासन को प्रकरण की गहन जांच कर कार्रवाई के दिए निर्देश।
सीईओ विश्व भूषण मिश्रा ने कहा है कि मंदिर के अंदर कोई भी मोबाइल फोन या कैमरा नहीं ले सकता है।मंदिर के अंदर का क्षेत्र प्रतिबंधित क्षेत्र है।हालांकि हम वीआईपी और भक्तों के अनुरोध पर उनकी तस्वीरें उपलब्ध कराते हैं।मंदिर का कैमरामैन तस्वीरें लेता है।
विश्व भूषण मिश्रा ने कहा कि मंदिर के अंदर मोबाइल ले जाने की अनुमति नहीं है,यह पूरी तरह गलत है।दरअसल अक्सर विश्वनाथ मंदिर के प्रांगण में वीआईपी और वीवीआईपी लोग प्रोटोकॉल के नियमों के तहत मोबाइल फोन लेकर जाते हैं। ऐसे में यह पहली बार नहीं है जब इस तरह की घटना देखने को मिली है।