ग्रेटर नोएडा।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ड्रीम प्रोजेक्ट ग्रेटर नोएडा इंटरनेशनल फिल्म सिटी को लेकर बड़ी अपडेट सामने आई है।ग्रेटर नोएडा को लेकर सीएम योगी ने जो सपना देखा था वो जल्द ही पूरा होगा। 26 जून को शाम 5 बजे सीएम के ड्रीम प्रोजेक्ट इंटरनेशनल फिल्म सिटी का शिलान्यास होगा,इसके बाद वर्ल्ड क्लास फिल्म सिटी आकार लेना शुरू कर देगी।फिल्म सिटी को 18 महीने में बनाने की योजना है। इसके बाद यहां शूटिंग शुरू हो जाएगी।
इस इंटरनेशनल फिल्म सिटी को बॉलीवुड के प्रसिद्ध निर्माता बोनी कपूर और भूटानी ग्रुप के कंसोर्सियम बेव्यू भूटानी फिल्म सिटी प्रा. लि. द्वारा यमुना एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट अथॉरिटी (यीडा) के सेक्टर 21 में निर्मित किया जाएगा। बोनी कपूर पहले ही दावा कर चुके हैं कि पहले चरण में तमाम स्टूडियोज के साथ साउंड स्टेजेस का निर्माण संपन्न कर लिया जाएगा।बोनी कपूर का दावा है कि ऐसी फिल्म सिटी बनेगी जो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सपनों को साकार करेगी।
बेव्यू भूटानी फिल्म सिटी प्रा. लि. के जीएम राजीव अरोड़ा ने बताया कि यमुना प्राधिकरण ने बीते सोमवार को फिल्म सिटी के पहले चरण के लेआउट प्लान को मंजूरी दे दी थी। इसके बाद 26 जून को फिल्म सिटी के औपचारिक शिलान्यास का निर्णय लिया गया है।बेव्यू भूटानी ने बताया कि शिलान्यास के लिए अतिथियों की सूची तैयार की जा रही है और जल्द ही इसको फाइनल कर लिया जाएगा।
बेव्यू भूटानी ने बताया कि फिल्म सिटी के पहले फेज में फिल्म स्टूडियो और फिल्म से जुड़ी अन्य गतिविधियों के केंद्र का विकास होगा।इसके साथ ही पोस्ट-प्रोडक्शन यूनिट सहित रनवे,हेलीपेड,संसद भवन जैसी गैलरी,समुद्र,चारधाम और सौर ऊर्जा आधारित लोकेशनों पर सेट तैयार होंगे।
बता दें कि कि पहले फेज में करीब 75 एकड़ में परियोजना प्रस्तावित है।सर्वाधिक 18 प्रतिशत ग्रॉस रेवेन्यू शेयर का प्रस्ताव देकर हाईएस्ट बिडर के रूप में चयनित बेव्यू प्रोजेक्ट्स एलएलपी और भूटानी ग्रुप को लेटर ऑफ अवार्ड विगत वर्ष ही जारी किया जा चुका है। 27 जून 2024 को यीडा और कंसेशनायर प्रतिनिधि बोनी कपूर के बीच कंसेशन एग्रीमेंट पर हस्ताक्षर भी हो चुके हैं,जिसके अनुरूप, 27 फरवरी 2025 को साइट का राइट ऑफ वे कंसेशनायर को हस्तांतरित कर दिया गया है। इस परियोजना के तहत फिल्म सिटी का मास्टर प्लान 30 जनवरी 2025 को अनुमोदित किया गया।
बताते चलें कि इंटरनेशनल फिल्म सिटी के निर्माण को उत्तर प्रदेश को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय फिल्म निर्माण का केंद्र बनाने की दिशा में ऐतिहासिक कदम के तौर पर देखा जा रहा है।इसके जरिये न केवल रोजगार सृजन और निवेश आकर्षण होगा,बल्कि यूपी की सांस्कृतिक विरासत का प्रचार-प्रसार भी बढ़ेगा।फिल्म प्रेमियों और युवाओं के लिए यह प्रोजेक्ट सिर्फ रोजगार का जरिया नहीं, बल्कि सपनों को पंख देने वाला प्लेटफॉर्म साबित होगा,यह प्रोजेक्ट लाखों प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष नौकरियों के अवसर पैदा करेगा और यूपी की अर्थव्यवस्था को नई ऊंचाई देगा।